
रामकुमार नायक, रायपुर : सड़क दुर्घटना के शिकार लोगों के लिए अब छत्तीसगढ़ में एक नई उम्मीद की किरण जगी है. मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय की अगुवाई में राज्य सरकार ने ‘सड़क दुर्घटना नगदी रहित उपचार स्कीम 2025’ को लागू कर दिया है, जो हर वर्ग के लिए राहत भरा कदम साबित हो रहा है.
कैसे काम करेगी ये कैशलेस स्कीम?इस योजना के तहत यदि राज्य में कोई व्यक्ति सड़क हादसे का शिकार होता है, तो उसे राज्य सरकार द्वारा सूचीबद्ध निजी और सरकारी अस्पतालों में कैशलेस इलाज की सुविधा मिलेगी.
इलाज की सुविधा हादसे की तारीख से 7 दिनों तक उपलब्ध होगी.
प्रत्येक मरीज को अधिकतम ₹1.5 लाख तक का इलाज पूरी तरह निःशुल्क मिलेगा.
इस स्कीम में निजी अस्पतालों को भी शामिल किया गया है, ताकि पीड़ित को बेहतर और त्वरित इलाज मिल सके.
जनता की राय: “यह योजना नहीं, जीवन की सुरक्षा है”प्रमोद सागर कहते हैं कि दुर्घटना अचानक होती है, गरीब-अमीर नहीं देखती. ऐसे में डेढ़ लाख रुपये तक मुफ्त इलाज बहुत राहत देगा.मनोज कुमार दास बोले कि इस स्कीम से लोगों को मानसिक और आर्थिक सहारा मिलेगा. सरकार का यह कदम सराहनीय है.”चंद्रकुमार पटेल मिलो ने कहा कि निजी अस्पतालों में इलाज के पहले पैसे की चिंता होती है, अब नहीं रहेगी.विकास सिंह का मानना है कि अब लोगों को गहने या ज़मीन बेचने की नौबत नहीं आएगी. ये सुरक्षा और भरोसे का संदेश है.”
प्रशासन को मिले निर्देश, ज़मीन पर दिखेगा असरराज्य सरकार ने सभी जिला कलेक्टरों को स्पष्ट निर्देश दिए हैं कि योजना का प्रभावी क्रियान्वयन सुनिश्चित किया जाए. अस्पतालों को भी पंजीयन और कैशलेस व्यवस्था को मजबूत करने के निर्देश जारी हो चुके हैं.
क्या बदलेगा इससे?गरीब तबके को आर्थिक राहत मिलेगी
हादसे के तुरंत बाद इलाज शुरू हो सकेगा
परिवार मानसिक रूप से सहज रहेगा
राज्य में हेल्थकेयर रिस्पांस का भरोसा बढ़ेगा
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